manorav@thebitterbites.com
Facebook
Twitter
YouTube
Instagram
mnnnu
  • ABOUT US
  • READER’S CHOICE
    • Blog
    • POETRY
    • Cricket Not Out
    • YOUR STORY
      • RHYDHM TAKKAR
  • GUEST POST SUBMISSIONS
  • PODCAST
  • CONTACT US
the bitter bites खतरे में पत्रकारिता

खतरे में पत्रकारिता

November 25, 2017blog, journalismthebitterbites

दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र भारत पत्रकारिता के लिहाज से सबसे खतरनाक मुल्कों की सूची में बहुत ऊपर है। रिपोर्ट्स विदआउट बॉर्डर्स  द्वारा 2017 में जारी वर्ल्ड प्रेस फ्रीडम इंडेक्स के अनुसार इस मामले में 180 देशों की सूची में भारत 136वें स्थान पर है, यहां अपराध, भ्रष्टाचार, घोटालों, कार्पोरेट व बाहुबली नेताओं के कारनामे उजागर करने वाले पत्रकारों को इसकी कीमत अपनी जान देकर चुकानी पड़ती है, इसको लेकर पत्रकारों के सिलसिलेवार हत्याओं का लम्बा इतिहास रहा है, राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक पिछले दो सालों के दौरान देश भर में पत्रकारों पर 142 हमलों के मामले दर्ज किये हैं जिसमें सबसे ज्यादा मामले उत्तर प्रदेश 64 मामले, मध्य प्रदेश 26 और बिहार में 22 मामले दर्ज हुए हैं,

distortion of journalism खतरे में पत्रकारिता the bitter bites

@pixabay

इधर एक नया ट्रेंड भी चल पड़ा है जिसमें वैचारिक रूप से अलग राय रखने वालों, लिखने पढ़ने वालों को डराया, धमकाया जा रहा है, उन पर हमले हो रहे हैं यहां तक कि उनकी हत्यायें की जा रही हैं, आरडब्ल्यूबी की ही रिपोर्ट बताती है कि भारत में कट्टरपंथियों द्वारा चलाए जा रहे ऑनलाइन अभियानों का सबसे बड़े शिकार पत्रकार ही बन रहे हैं, यहां न केवल उन्हें गालियों का सामना करना पड़ता है, बल्कि शारीरिक हिंसा की धमकियां भी मिलती रहती हैं,पिछले दिनों वरिष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश को बेंगलुरु जैसे शहर में उनके घर में घुसकर मार दिया गया, लेकिन जैसे उनके वैचारिक विरोधियों के लिए यह काफी ना रहा हो, सोशल मीडिया पर दक्षिणपंथी समूहों के लोग उनकी जघन्य हत्या को सही ठहराते हुए जश्न मानते नजर आये, विचार के आधार पर पहले हत्या और फिर जश्न यह सचमुच में डरावना है,गौरी लंकेश की निर्मम हत्या एक ऐसी घटना है जिसने स्वतंत्र और निष्पक्ष पत्रकारिता करने वाले लोगों में गुस्से और निराशा से भर दिया है, उनकी बिल्कुल उसी तरह की गयी है जिस तरह से उनसे पहले गोविन्द पानसरेए नरेंद्र दाभोलकर एएमएम कलबुर्गी की आवाजों को खामोश कर दिया गया था, ये सभी लोग लिखने-पढ़ने और बोलने वाले लोग थे जो सामाजिक रूप से भी काफी सक्रिय थे,

भारत हमेशा से ही एक बहुलतावादी समाज रहा है जहां हर तरह के विचार एक साथ फलते-फूलते रहे हैं यही हमारी सबसे बड़ी ताकत भी रही है लेकिन अचानक यहां किसी एक विचारधारा या सरकार की आलोचना करना बहुत खतरनाक हो गया है इसके लिए आप राष्ट्र-विरोधी घोषित किये जा सकते हैं और आपकी हत्या करके जश्न भी मनाया जा सकता है, बहुत ही अफरा-तफरी का माहौल है जहां ठहर कर सोचने-समझने और संवाद करने की परस्थितियां सिरे से गायब कर दी गई हैं, सब कुछ खांचों में बंट चुका है हिंदू बनाम मुसलमान, राष्ट्रवादी बनाम देशद्रोही, सोशल मीडिया ने लंगूर के हाथ में उस्तरे वाली कहावत को सच साबित कर दिया है जिसे राजनीतिक शक्तियां बहुत ही संगठित तौर पर अपने हितों के लिए इस्तेमाल कर रही हैं, पूरे मुल्क में एक खास तरह की मानसिकता और उन्माद को तैयार किया जा चुका है, यह एक ऐसी बीमारी है

जिसका इलाज बहुत महंगा साबित होने वाला है और बहुत संभव है कि यह जानलेवा भी साबित हो,इस दौरान समाज से साथ-साथ मीडिया का भी ध्रुवीकरण हुआ है,  समाज में खींची गईं विभाजन रेखाएं मीडिया में भी साफ नजर आ रही हैं, यहां भी अभिव्यक्ति की आजादी और असहमति की आवाजों को निशाना बनाया गया है इसके लिए ब्लैकमेल, विज्ञापन रोकने, न झुकने वाले संपादकों को निकलवाने जैसे हथकंडे अपनाये गये हैं, इस मुश्किल समय में मीडिया को आजाद होना चाहिए था लेकिन आज लगभग पूरा मीडिया हुकूमत की डफली बजा रहा है, यहां पूरी तरह एक खास एजेंडा हावी हो गया है, पत्रकारों को किसी एक खेमे में शामिल होने और पक्ष लेने को मजबूर किया जा रहा है,किसी भी लोकतान्त्रिक समाज के लिए अभिव्यक्ति  की आजादी और असहमति का अधिकार बहुत जरूरी है, आज इस देश के नागरिक अपने विचारों के कारण मारे जा रहे हैं और इसे सही ठहराया जा रहा है,

लेकिन दुर्भाग्य यह है कि हम एक ऐसे समय में धकेल दिये गये हैं जहां असहमति की आवाजों के लिए कोई जगह नहीं है,अभिव्यक्ति की आजादी और पत्रकारों की सुरक्षा का सवाल हमारी सामूहिक नाकामी का परिणाम है और इसे सामूहिक रूप से ही सुधार जा सकता है, आज हमारी वैचारिक लड़ाईयां, असहमतियां  खूनी खेल में तबदील हो चुकी है, इस स्थिति के लिए सिर्फ कोई विचारधारा, सत्ता या राजनीति ही जिम्मेदार नहीं है इसकी जवाबदेही समाज को भी लेनी पड़ेगी, भले ही इसके बोने वाले कोई और हों लेकिन आखिरकार नफरतों की यह फसल समाज और सोशल मीडिया में ही तो लहलहा रही है।

-दक्ष वैट्स

और पढो blogs ya poetry
Subscribe us Onthe bitter bites youtube


Related

Tags: blog, journalism, the bitter bites, खतरे में पत्रकारिता
thebitterbites
https://thebitterbites.com
Previous post Video Next post Padmavat controversy Revealed

Related Articles

fall the bitter bites

Fall in love

September 25, 2017thebitterbites
thebitterbites, someone

Find someone

September 16, 2017thebitterbites
the bitter bites humanism

Walks of Life

November 17, 2017thebitterbites

Tags

#lgbtq2k17abhishek kumaraccidental write upA Dog Beaten by Watchmenadvantages and disadvantage of network marketingAirtel 4G new planAirtel New data planAirtel New planAnalysisAnd She Fell for himasked men to rapeask firstasmsauntie ashamed a womanBeat Boxing Podcastbeautiful strangerbest Black Friday 2020 deals?beyond infinityBlack Friday Sale
October 2023
S M T W T F S
1234567
891011121314
15161718192021
22232425262728
293031  
« May    

Categories

Recent Comments

  • Hairstyles on Things you should know about “Network Marketing”.
  • Fashion Styles on Things you should know about “Network Marketing”.
  • Eric on Things you should know about “Network Marketing”.
  • bhavika on What To Do When Bored? 33 Things that you Don’t Know
  • manu arora on Why Delhi is Adopting Rape Culture ?

Podcast

Privacy & Cookies: This site uses cookies. By continuing to use this website, you agree to their use.
To find out more, including how to control cookies, see here: Cookie Policy

RECENT POST

  • Huna Onao the Chinese Girl Viral On Internet
  • What To Do When Bored? 33 Things that you Don’t Know
  • How to train your mind for competitive exams like IAS, GMAT?
  • Free Tip: You Don’t Need A Podcast Editor
  • Black Friday 2020 : How to get top Black Friday deals from India?

Subscribe to Blog via Email

Enter your email address to subscribe to this blog and receive notifications of new posts by email.

Join 152 other subscribers

Tags

A Dog Beaten by Watchmen ask first beautiful stranger blog brutally beaten dog consent matters cricket direct selling direct selling pros and cons fiction forever for wearing short dress how many rapes cases in delhi humanity lady shamed a girl love lucky stray dog manorav arora mlm pros and cons multi level marketing mumbai dog case podcast poetry Pros and Cons of Network Marketing rape rape culture in delhi rapes in delhi rape story rape the girl Relationship Rhydhm rhydhm takkar season 1 shamed a girl for wearing a short dress so much love story Tasveer Hum Sabki the beautiful stranger thebitterbites the bitter bites together forever TRAFFIC RULES women shamed a girl world cup your story
  • Focused or Explorer | Tasveer Humsabki
    April 30, 2019

  • Happy Children's day|Jawaharlal Nehru
    November 14, 2018

  • How Challenges Make You Strong|Finding Purple
    November 1, 2018

  • The Sweetness of An Orange | Podcast
    October 13, 2018

  • Let's Talk About Beat Boxing
    October 9, 2018

  • Happy Gandhi Jayanti
    October 2, 2018

About UsBlogContactGuest Post SubmissionsPodcastSitemap
©2021 All rights reserved.The Bitter Bites
Join Us

Feel Free!

 

work with us

 

sign up